Wednesday, July 27, 2016

तुम जिंदगी की किताब


तुम कोई लड़की नहीं हो
तुम मेरी जिंदगी की पवित्र किताब 📚 हो
हम जिंदगी का सब कुछ                               
पढ लेते हैं तुममें
तुमहारी बातों में
तुमहारी हंसी में
तुमहारें जज्बातों में
तुमहारें खयालों में
तुमहारें अंदाजों में
और तुम्हारे रूप के यौवन में
हम देखते हैं
जिंदगी के सारे हुनर
आओ मेरी आँखों में आँखें डाल कर बैठो
हम पढ़ेंगे
तुमहारें यौवन में मदमाती आँखों में
हर शब्द को
हर पन्ने को
हर जवान होती हसरतों को
और फड़फड़ाते जिस्म की महकती गंध को
हम पढेंगे वो सब कुछ
जो तुमको पसंद है
जिसकी तुमको चाहत है
आओ एक पवित्र ग्रंथ की तरह
तुमको कंठस्थ करे.............
डॉ.रजनीश गंगवार